कनाडा में रिपुदमन सिंह के हत्यारों ने कबूला अपराध, एयर इंडिया विमान विस्फोट के संदिग्ध की हुई थी हत्या, कोर्ट में मारपीट

कनाडा में सिख अलगाववादी रिपुदमन सिंह मलिक की हत्या के मामले में दो हत्यारों ने अदालत में अपना अपराध स्वीकार कर लिया है। रिपुदमन सिंह साल 1985 में एयर इंडिया के विमान विस्फोट मामले में संदिग्ध था, लेकिन अदालत से बच निकला था। इस हादसे में विमान में सवार सभी यात्री और क्रू समेत 329 लोग मारे गए थे। साल 2022 में 14 जुलाई को रिपुदमन सिंह की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। ब्रिटिश कोलंबिया के टेनर फॉक्स और जोस लोपेज ने दूसरी डिग्री की हत्या के लिए अपना अपराध स्वीकार किया।

इस दौरान चौंकाने वाली घटना हुई, जब दोनों आरोपी कोर्ट रूम में ही एक दूसरे से भिड़ गए और घूसे बरसाने लगे। वैंकूवर सन की रिपोर्ट के अनुसार, दोनों ने कुछ मिनटों तक एक दसरे पर घूसे और थप्पड़ों से हमला किया, जिसके बाद शेरिफ ने विवाद को रोका और हथकड़ी लगाकर उन्हें दूर किया।

हायर करने वालों का नहीं मिला सबूत
रिपोर्ट के अनुसार, फॉक्स और लोपेज को मलिक को हत्या का कॉन्ट्रैक्ट दिया गया था, लेकिन साक्ष्य यह स्थापित नहीं कर पाए कि किसने उन्हें काम पर रखा था। सीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, मलिक के परिवार ने कहा कि टेनर फॉक्स और जोस लोपेज को इस हत्या को अंजाम देने के लिए काम पर रखा गया था। जब तक उन्हें हायर करने और हत्या को निर्देशित करने वालों को न्याय के कटघरे में नहीं लाया जाता, तब तक का अधूरा रहेगा।

परिवार ने हत्यारों से उन लोगों को न्याय के कटघरे में लाने के लिए रॉयल कनैडियन माउंटेड पुलिस के साथ सहयोगी करने की अपील की, जिन्होंने उन्हें हायर किया था। मलिक के हत्यारों ने अपना अपराध ऐसे समय में स्वीकार किया है, जब कनाडा ने एक सप्ताह पहले ही आरोप लगाया था कि भारतीय सरकार के एजेंट कनाडा में हिंसक अपराधों में शामिल रहे हैं।

भारतीय राजनयिकों की भूमिका से पुलिस का इनकार
कनाडा ने भारतीय राजनयिकों पर भी इसमें शामिल होने का आरोप लगाया था, जिसके बाद भारत ने अपने उच्चायुक्त को वापस बुला लिया। सीबीसी न्यूज ने बताया है कि फॉक्स और लोपेज भारतीय मूल के नहीं हैं। जांचकर्ताओं ने सीबीसी को बताया है कि उन्हें नहीं लगता कि लोपेज और फॉक्स को भारतीय राजनयिकों ने अनुबंधित किया था।

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